रायपुर। इस साल के अंत में छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं. इसे लेकर अभी से ही प्रदेश में चुनावी सरगर्मियां तेज हो गई है. सभी राजनीतिक दल के नेता एक-दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगाते नजर आ रहे है. इसी बीच बुधवार को बीजेपी के वरिष्ठ नेता व सांसद मनोज तिवारी ने आगामी विधानसभा चुनावों में अपने सांसदों को मैदान में उतारने के अपनी पार्टी के कदम का बचाव किया. इसके साथ ही उन्होंने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि ‘इंडिया’ समूह के लोग ‘सनातन धर्म’ को खत्म करने की बात करते है।
सनातन धर्म को खत्म करने की बात….
बीजेपी के दिग्गज नेता व उत्तर-पूर्वी दिल्ली निर्वाचन क्षेत्र से सांसद तिवारी छत्ततीसगढ़ के बिलासपुर और मुंगेली दौरे पर पहुंचे थे. इसी बीच जिलों में भाजपा की ‘परिवर्तन यात्रा’ में शामिल भी हुए। बता दें कि इंडिया गठबंधन में दो दर्जन से ज्यादा विपक्षी दल हैं, इसे लेकर कांग्रेस पर निशाना साधते हुए उन्होंने ने कहा कि सबसे बड़ी बात यह है कि कांग्रेस के लोग किस आधार पर विधानसभा चुनाव जीतेंगे? उन्होंने एक गठबंधन बनाया है जो सनातन धर्म को खत्म करने की बात करता है।
किसी भी राज्य में टिक नहीं पाएगी कांग्रेस – सांसद
भोजपुरी के सुपरस्टार और भाजपा सांसद मनोज तिवारी ने रायपुर हवाई अड्डा में मीडिया से बातचीत करने के दौरान कहा कि सुशासन में वे भाजपा या एनडीए से कहीं आगे नहीं है. साथ ही उन्होंने कहा कि अगर वे सनातन धर्म को नष्ट करने के एजेंडे के साथ आगे बढ़ रहे हैं तो इसका मतलब यह है कि वे किसी भी राज्य में टिक नहीं पाएंगे। आगामी विधानसभा चुनावों में सांसदों को मैदान में उतारने की बीजेपी की रणनीति के बारे में एक सवाल पर सांसद तिवारी ने कहा कि यह कदम दिखाता है कि उनकी पार्टी चुनावों को कितनी गंभीरता से ले रही है।
बहुत गंभीरता से लड़ रहे हैं चुनाव – तिवारी
बता दें कि मध्य प्रदेश चुनाव के लिए भारतीय जनता पार्टी ने अपने उम्मीदवारों की दूसरी सूची जारी की. इसमें बीजेपी ने तीन केंद्रीय मंत्रियों और एक राष्ट्रीय महासचिव सहित सात सांसदों को मैदान में उतारने की घोषणा की है. कांग्रेस के इस दावे के बारे में पूछे जाने पर कहा कि बीजेपी के पास विधानसभा चुनावों के लिए जाने-माने चेहरे नहीं हैं इसलिए वह छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश चुनावों के लिए सांसदों को चुनावी मैदान उतार रही है. इसके आगे मनोज तिवारी ने कहा कि अगर सांसद विधानसभा चुनाव लड़ रहे हैं तो समझ लिजिए कि हम बहुत ही गंभीरता से चुनाव लड़ रहे हैं. अगर वे कांग्रेस पार्टी यह सोचती हैं कि हम चुनावों को गंभीरता से नहीं ले रहे हैं तो यह उनकी रणनीति है।