रायपुर। जगदलपुर जिले के सूरजपुर में होली त्यौहार के दिन के चिकित्सक के ऊपर जानलेवा हमला हुआ था. शुक्रवार को हमले के विरोध में सिर पर पट्टी बांधकर चिकित्सकों ने जमकर विरोध प्रदर्शन किया है.इसके साथ ही चिकित्सकों को सुरक्षा व्यवस्था को लेकर बात भी कही गई है.
वहीं जूडो अध्यक्ष डॉ. कमलेश ने बताया कि प्रदेश के कई मेडिकल कॉलेज, जिला अस्पताल के अलावा अन्य जगहों पर चिकित्सकों के ऊपर जानलेवा हमला किया जा रहा है. जिसमें चिकित्सक पूरी तरह से असुरक्षित है. वहीं समाज विरोधी तत्वों के द्वारा नियम कानूनों का उलंघन किया जा रहा है, यानी बने नियम कानूनों को पूरी तरह से तोड़ा जा रहा है. जिसके खिलाफ में मेडिकल कॉलेज, पीएचसी, सीएचसी और जिला हास्पिटल के जगहों पर चिकित्सकों ने सिर में पट्टी बांधकर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं।
प्रदेश में सुरक्षित नहीं है डॉक्टर
वहीं 8 मार्च 2023 को यानी होली त्यौहार के दिन सूरजपुर के जिला अस्पताल में डॉ. अनीश कुमार पर जानलेवा हमला किया गया था. इससे साफ साबित होता है कि प्रदेश में डॉक्टर सुरक्षित नहीं हैं. मरीजों का इलाज करने वाले चिकित्सकों पर धनबल-बाहुबल दिखाकर हमला किया जा रहा है. उन्हें सम्मान करने की जगह उन्हें मारा-पीटा जा रहा है. वहीं पुलिस द्वारा एफआईआर किए जाने के तुरंत ही सभी आरोपियों की रिहाई हो गई. जिसके वजह से डॉक्टरों में गुस्सा है. मेडिकल प्रोटेक्शन एक्ट और एट्रोसिटी जैसे गंभीर गैर जमानती अपराधों में भी आरोपियों को जमानत पर छूट जाना बहुत बड़ी बात है।
हमलावारों पर होना चाहिए सख्त कार्रवाई
वहीं इस मामले में मेकाज के चिकित्सक केएल आजाद ने कहा कि सूरजपुर, अंबिकापुर के अलावा रायगढ़ में अगर देखा जाए तो चिकित्सकों पर जानलेवा हमला करने वालों के चेहरे बदलते नजर आ रहे हैं. वहीं देश की सबसे बड़ी अदालत सुप्रीम कोर्ट के गाइड लाइन में मेडिकल प्रोटेक्शन एक्ट लागू करने की बात बताई गई है. हालांकि इस पर किसी भी तरह के कोई विचार-विमर्श नहीं किया गया है. चिकित्सकों पर हमला करने वाले अपने आप को किसी तरह से बचा ही ले रहे है. लेकिन ऐसे हमलावारों पर सख्त कार्रवाई होना चाहिए।