रायपुर. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रदेश में नामांकन, सीमांकन और डायवर्सन जैसे राजस्व मामलों में लंबित होने की शिकायत पर सख्त आदेश दिए है।सीएम ने कलेक्टरों को जारी निर्देश में कहा कि राजस्व प्रकरणों में देरी पाए जाने पर सीधे कलेक्टरों पर अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी। इन मामलों के निराकरण में देरी बर्दाश्त नहीं की जाएगी। सीएम बघेल ने मुख्य सचिव को निर्देश दिया है कि वह इन मामलों की निगरानी करें। सीएम बघेल की सख्त आदेश के बाद जिलों के कलेक्टरों ने भी इनसे जुड़े अधिकारियों को इन प्रकरणों को जल्द सुलझाने के निर्देश दिए हैं।
जिला कलेक्टरों को मिला फरवरी तक मोहलत
सीएम बघेल ने राज्य के लंबित राजस्व प्रकरणों में फरवरी तक का समय दिया। इस समय तक अगर लंबित मामले नहीं खत्म हुए तो कलेक्टरों पर अनुशासनात्मक कार्रवाई होगी। फरवरी के अंतिम सप्ताह में मुख्यमंत्री खुद जिला कलेक्टरों की बैठक लेकर इसकी की समीक्षा करेंगे।इसमें नामांतरण, सीमांकन, डायवर्सन भूमि आवंटन, व्यवस्थापन तथा फ्री-होल्ड प्रकरणों के साथ ही अवैध निर्माण का नियमितीकरण व नगरीय निकायों को एक रुपये प्रति वर्ग फीट की दर से भूमि आवंटन जैसे मुख्य मुद्दे रहेगें।
1.5 लाख से ज्यादा मामले लंबित
मीडिया रिपोर्ट की माने तो राज्य में 1.5 लाख नामांतरण, सीमांकन, डायवर्सन भूमि आवंटन, व्यवस्थापन तथा फ्री-होल्ड के मामले लंबित है। इसमें ज्यादा मामले एक वर्ष से लेकर पांच वर्ष के बीच के है।
सीएम खुद ले रहे है योजनाओं का फीडबैक
आपको बता दें कि सीएम बघेल अलग-अलग विधानसभा में पहुंच कर लोगों से भेंट-मुलाकात कर रहे है तथा अपने योजनाओं का प्रदेशभर की जनता से फीडबैक भी ले रहे है।